मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ पंकज गौड़ ने भीम सीएचसी का किया आकस्मिक निरीक्षण
सीएचसी के चप्पे - चप्पे का किया निरीक्षण ,व्यवस्थाओं को आगामी 7 दिन मे सुधारने की दी चेतावनी
राजसमंद, 12 जुलाई। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ पंकज गौड़ ने भीम सीएचसी का आकस्मिक निरीक्षण में चिकित्सा संस्थान का प्रत्येक कौना अव्यवस्थित नजर आया। कही पूरानी रेफरल स्लिप से कमरा भरा हुआ है तो कही कई वर्षो से ताला लगाकर अंदर पड़े चिकित्सकीय उपकरणों को अनुपयोगी रख रखा है। सीएचसी में स्टोर भी एक नहीं कई कमरों में उपकरणों व सामानो को रख दिया गया है। पुराने व नयें उपकरणों को भी एक साथ रख कर ताले लगा रखें है। सीएचसी पर कार्यरत कार्मिक भी यूनिफॉर्म में नहीं मिलें।
उन्होंने चिकित्सा संस्थान में कई समय से बंद कमरो को जब एक - एक कर खुलवाया तो अवस्थाओं की पोल खुलती चली गई। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ पंकज गौड़ सीएचसी भीम की व्यवस्थाओं को लेकर चिकित्सा अधिकारी प्रभारी से नाराजगी व्यक्त की तथा आगामी 7 दिनों में चिकित्सा संस्थान का काया कल्प कर रिपोर्ट प्रस्तुत करने के लियें निर्देशित किया।
उन्होंने पुरे चिकित्सा संस्थान में पुनः कमरो की नम्बरींग करवा इसका चार्ट चिकित्सा संस्थान के प्रवेश द्वार पर लगवाने व तथा नम्बरींग के अनुसार ही सम्बन्धित वार्ड जननी वार्ड, सामान्य वार्ड, शिशु वार्ड, टीकाकरण कक्ष, प्रसव कक्ष, नवजात स्थिरीकरण युनिट, उजाला क्लिनिक, नर्सिंग स्टेशन, चिकित्सा अधिकारीयों के कक्ष व हौम्योपेथी क्लिनिक को संचालित करनें के लियें निर्देशित किया।
निरीक्षण दौरान उन्होंने देखा की कुछ कमरों में पुरानी धुल खाती स्टेशनरी, रिकार्ड पड़ा हुआ है। कई कमरों में काम में आने वाले उपयोगी चिकित्सकीय उपकरणों के साथ ही निलामी योग्य कबाड़ रखा हुआ है। इस पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ पंकज गौड़ ने नाराजगी व्यक्त की तथा स्टोर प्रभारी को लताड़ पीलाई।
चिकित्सा अधिकारी प्रभारी को निर्देशित किया की उपयोग में आने वाली व नाकारा उपकरण व सामग्री की सूची बनाकर अलग - अलग करनें तथा नाकारा उपकरणों का शीघ्र निस्तारण करें। उन्होंने ने कहा की सरकार ने कई बार पुराने नाकारा उपकरण व सामग्री निलामी के लियें अभियान संचालित किये तब इन नाकारा उपकरणों व सामग्री को निलाम क्यों नहीं किया।
इन्जेक्शन रूम में कचरा निस्तारण की गाईड लाईन को दरकिनार कर मर्जी से कचरें को फेंकने को गंभीरता से लिया तथा बायोवेस्ट के नियमो का पालना करते हुयें रूम में अलग - अलग कलर के डस्टबीन का उपयोग करतें हुयें चार्ट प्रदर्शित करने के लियें निर्देशित किया।
उन्होंने स्टोर में बड़ी संख्या में चद्दर होने तथा जननी वार्ड के निरीक्षण के दौरान पुराने गंदे चद्दर नजर आने पर रोष व्यक्त किया। निर्देशित किया की प्रतिदिन चद्दर बदलने , प्रत्येक वार को तय कलर के अनुसार चदद्र का कलर चार्ट प्रदर्शित करनें तथा वार्ड में मातृत्व स्वास्थ्य एवं शिशु स्वास्थ्य से संबंधित आईईसी सामग्री को व्यवस्थित लगाने के लियें कहा। निरीक्षण के दौरान साफ - सफाई व स्वच्छता तो कहीं नजर ही नहीं आई, ट्रोमा वार्ड में धुल से सना फर्श व पुराने बेड पडे़ हुयें है। उन्होंने चिकित्सा संस्थान के परिसर में स्थित बोर्ड पर पुरानी योजना के स्थान पर पेन्टींग करवा राज श्री योजना की जानकारी प्रदर्शित करनें के निर्देशित किया।
उन्होंने सीएचसी प्रभारी चिकित्सा अधिकारी इन्द्र पाल सिंह परिहार को सामान्य वार्ड, महिला वार्ड, पुरूष वार्ड, शिशु वार्ड, चिकित्सा संस्थान की साफ - सफाई, ओ.टी, आउटडोर, इनडोर , दवा वितरण केन्द्र, स्टोर के प्रबंधन के लियें एक चिकित्सा अधिकारी एवं एक नर्सिंग स्टॉफ की जिम्मेदारी सुनिश्चित करनें के निर्देशित किया। जिससें कार्य के लापरवाही सामने आने पर तुरंत कार्यवाही की जा सके।
निरीक्षण के दौरान खंड मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ कमलेश मीणा, सीएचसी चिकित्सा अधिकारी प्रभारी डॉ इन्द्रपाल सिंह परिहार, जिला नोडल अधिकारी विनित दवे, आईईसी समन्वयक दिलीप श्रीमाली व सीएचसी स्टॉफ मौजुद था।
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