मौसमी बिमारीयों की रोकथाम को लेकर सजगता बरते - सीएमएचओं डॉ पंकज गौड़
देवगढ़ में खंड स्तरीय समीक्षा बैठक का हुआ आयोजन
राजसमंद, 14 अगस्त। बरसात के मौसम में जलजनित डायरिया, हैजा तथा वैक्टर जनित बिमारीयों मलेरिया, डेंगू, चिकनगुनिया के फैलने की पुरी संभावना होती है। बिमारीयों की रोकथाम के लियें लगातार अपने क्षैत्रो में एण्टीलार्वा गतिविधियों के साथ ही लोगो को साफ - सफाई एवं शुद्ध पेयजल के इस्तेमाल करने की सलाह देवें। यह निर्देश मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ पंकज गौड़ ने देवगढ़ में आयोजित खंड स्तरीय समीक्षा बैठक में दियें।
उन्होंने कहा की मौसमी बिमारीयों की रोकथाम के लियें चिकित्सा संस्थानो पर पर्याप्त मात्रा में दवाईयों की उपलब्धता सुनिश्चित करें तथा मुख्यालय पर ही रहें जिससें आमजन को किसी तरह की समस्या नहीं हों।
बैठक में उन्होंने टी.बी कार्यक्रम के तहत निक्षय पोषण योजना की जानकारी देते हुयें बताया की टी.बी रोगियों को पोषण सहायता के लियें प्रतिमाह 500 रूपयें सिधें उनके बैंक खातो में हस्तांतरित कियें जा रहें है। इसके लियें आशा सहयोगिनीयां अपने गांव में टी.बी रोगियों के खाता संख्या एवं आधार नम्बर का संकलन किया जा रहा है। एएनएम की जिम्मेदारी होगी की वह अपने क्षैत्र की सभी टी.बी रोगियों के खाता संख्या एवं आधार नम्बर निक्षय पोर्टल पर अपडेट करवायें जिससें रोगियों को योजना का लाभ मिल सकें।
उन्होंने क्षैत्र में सिलिकोसिस मरीजो को चिन्हीत करने के लियें सीएचसी स्तर पर लगने वाले शिविर में संभावित मरीजो को रेफर करने के लियंे निर्देशित कियंें जिससें मरीजो को योजनाओं का लाभ मिल सकें।
बैठक में उन्होने ग्रामीणों को एएनएम द्वारा दी जा रही स्वास्थ्य सेवाओं से सम्बन्धित एसडीआर रजिस्टर को अपडेट रखने एवं ममता कार्ड की प्रविष्ठीयों को गम्भीरता के साथ भरने के लियें निर्देशित किया। बैठक में बुद्धराम राजोरिया, आयुष चिकित्सा अधिकारी डॉ तुलसी राम संाखला, श्रवण शर्मा, खंड कार्यक्रम प्रबंधक उत्तम मेवाड़ा के साथ ही खंड की सभी एएनमए, एलएचवी, स्वास्थ्य कार्यकर्ता, कम्प्यूटर ऑपरेटर उपस्थित थें।
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